देश

अरुण गोयल ने क्यों छोड़ दिया चुनाव आयुक्त का पद, क्या एक अफसर से चल सकता है आयोग…

लोकसभा चुनाव की घोषणा से ठीक पहले निर्वाचन आयुक्त अरुण गोयल ने इस्तीफा दे दिया है।

उनका कार्यकाल दिसंबर 2027 तक था। उन्होंने पद से इस्तीफा क्यों दिया है, इसकी वजह अभी साफ नहीं हो पाई है।

केंद्रीय विधि एवं न्याय मंत्रालय की ओर से जारी अधिसूचना के मुताबिक राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने शनिवार को तत्काल प्रभाव से उनका इस्तीफा स्वीकार कर लिया है। 

गोयल के इस्तीफे के बाद भारतीय निर्वाचन आयोग में अब सिर्फ मुख्य निर्वाचन आयुक्त ही बचे हैं। अब आयोग में दो निर्वाचन आयुक्तों के पद खाली हो गए।

आयोग में एक पद पिछले माह अनूप चंद्र पांडेय के सेवानिवृत्त होने की वजह से खाली था। गोयल, एक सेवानिवृत्त नौकरशाह, पंजाब कैडर के 1985 बैच के आईएएस अधिकारी थे।

उन्हें नवंबर 2022 में निर्वाचन आयुक्त नियुक्त किया गया था। पिछले माह यानी फरवरी में अनूप चंद्र पांडेय की सेवानिवृत्त होने और गोयल के इस्तीफे के बाद, तीन सदस्यीय ईसीआई पैनल में अब सिर्फ मुख्य निर्वाचन आयुक्त राजीव कुमार ही हैं।

लोकसभा चुनाव पर कोई असर नहीं
सूत्रों की माने तो निर्वाचन आयुक्त अरुण गोयल द्वारा पद से इस्तीफा दिए जाने से लोकसभा चुनाव की घोषणा पर कोई फर्क नहीं पड़ेगा।

जानकार बताते हैं कि पहले ही ईसीआई के दोनों निर्वाचन आयुक्त के पद खाली हो गए हैं, लेकिन इससे चुनाव की घोषणा पर कोई असर नहीं पड़ेगा।

एक सवाल के जवाब में कहा कि आयोग में किसी तरह का कोई निर्णय लेने के लिए औपचारिक रूप से किसी कोरम पूरा होने की जरूरत नहीं है।

चुनाव की जिम्मेदारी सिर्फ मुख्य निर्वाचन आयुक्त पर
निर्वाचन आयुक्त अरुण गोयल द्वारा अचानक अपने पद से इस्तीफा दिए जाने के बाद अब लोकसभा चुनाव कराने की जिम्मेदारी मुख्य निर्वाचन आयुक्त राजीव कुमार के कंधे पर आ गई है।

इससे पहले, मुख्य निर्वाचन आयुक्त राजीव कुमार और निर्वाचन आयुक्त अरुण गोयल लोकसभा चुनाव की तैयारियों को लेकर विभिन्न राज्यों का दौरा कर रहे थे और सुचारू रूप से चुनाव कराने के लिए दिशा-निर्देश जारी कर रहे थे।

गोयल की नियुक्ति पर विवाद
निर्वाचन आयुक्त के पद अरुण गोयल की नियुक्ति को लेकर विवाद हो गया था और मामला सुप्रीम कोर्ट भी पहुंचा था। 1985 बैच के आईएएस अधिकारी रहे गोयल 18 नवंबर, 2022 को स्वैच्छिक सेवानिवृति ले ली थी और इसके अगले ही दिन उन्हें निर्वाचन आयुक्त नियुक्त कर दिया गया।

उनके नियुक्ति को सुप्रीम कोर्ट में भी चुनौती दी गई थी। सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने इस पद पर उनकी नियुक्ति में हुई जल्दबाजी पर सवाल उठाए थे। हालांकि बाद में हस्तक्षेप करने से इनकार कर दिया था।

गोयल दूसरे अधिकारी जिन्होंने पद से इस्तीफा दिया
निर्वाचन आयुक्त के पद पर रहते हुए अरुण गोयल का सरकार या मुख्य निर्वाचन आयुक्त के साथ किसी तरह का कोई मतभेद नहीं रहा। पिछले चार साल में अरुण गोयल दूसरे निर्वाचन आयुक्त हैं, जिन्होंने अपने पद से इस्तीफा दिया है।

इससे पहले अशोक लवासा ने निर्वाचन आयुक्त के पद से इस्तीफा दिया था। निर्वाचन आयुक्त के पद पर रहते लवासा का मुख्य निर्वाचन आयुक्त और साथी निर्वाचन आयुक्त के साथ आए दिन मतभेद की खबरे आती रहती थी।

अगस्त 2020 में अशोक लवासा ने निर्वाचन आयुक्त के पद से इस्तीफा दे दिया था। इसके बाद उन्हें एशियन डेवलपमेंट बैंक के उपाध्यक्ष पद पर नियुक्त किया गया।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button