कौन हैं अजीत गोपछड़े जिन्हें BJP ने बनाया RS चुनाव में कैंडिडेट, बाबरी विध्वंस से क्या कनेक्शन; फोटो क्यों हो रही वायरल…
महाराष्ट्र में बीजेपी ने राज्य सभा चुनाव के लिए तीन कैंडिडेट उतारे हैं।
पार्टी ने कांग्रेस से आए पूर्व मुख्यमंत्री अशोक चव्हाण, मेधा गाडगिल और डॉ. अजीत गोपछड़े को मैदान में उतारा है।
कुल छह सीटों पर चुनाव होने हैं। दो सीटें सहयोगी एनसीपी और शिव सेना के लिए छोड़ी हैं, जबकि संख्या बल के हिसाब से एक सीट पर विपक्षी अघाड़ी गठबंधन का उम्मीदवार जीत सकता है।
इस राजनीतिक दांव-पेंच के बीच बीजेपी के तीसरे कैंडिडेट डॉ. अजीत गोपछड़े की तस्वीर सोशल मीडिया पर खूब वायरल हो रही है।
कौन हैं डॉ. अजीत गोपछड़े
बीजेपी के केंद्रीय नेतृत्व द्वारा महाराष्ट्र से राज्यसभा चुनाव के लिए तीसरे उम्मीदवार के रूप में उतारे गए डॉ. अजीत गोपछड़े वर्षों तक राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के प्रचारक रहे हैं।
उन्होंने दिसंबर 1992 में अयोध्या में राम मंदिर निर्माण आंदोलन के दौरान कार सेवा भी की है। पिछले महीने जनवरी में राम मंदिर के उद्घाटन से एक दिन पहले गोपछड़े ने कारसेवा के दौरान खींची गई अपनी एक पुरानी तस्वीर ट्वीट की थी।
गोपछड़े ने 21 जनवरी को एक्स पर लिखा, “राम मंदिर के उद्घाटन की पृष्ठभूमि में, मुझे उन कारसेवकों पर गर्व है, जो उस आंदोलन का हिस्सा थे।
इसने मुझे 6 दिसंबर, 1992 की रोमांचक यादें ताजा करा दी हैं।” तस्वीर में गोपछड़े बाबरी ढांचे की गुंबद के ऊपर कारसेवकों के साथ खड़े दिखाई दे रहे हैं। उस वक्त उनकी उम्र 22 साल थी।
गोपछड़े पेशे से डॉक्टर हैं और लिंगायत समुदाय से ताल्लुक रखते हैं।
इस समुदाय की महाराष्ट्र के कई लोकसभा क्षेत्रों में खासी आबादी है। गोपछड़े राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के प्रचारक और महाराष्ट्र राज्य के उपाध्यक्ष भी हैं।
वह राज्य भाजपा के चिकित्सा प्रकोष्ठ के प्रभारी भी हैं। इस प्रकोष्ठ में 50,000 से अधिक डॉक्टर शामिल हैं।
राज्य भाजपा नेताओं के अनुसार, गोपछड़े प्रमोद महाजन, गोपीनाथ मुंडे और नितिन गडकरी के मार्गदर्शन में काम कर चुके हैं।
शैक्षणिक योग्यता क्या?
डॉ. गोपछ़डे एमबीबीएस और स्त्री रोग में एमडी हैं। उनकी पत्नी चेतना गोपछडे एक जेनेटिक स्पेशलिस्ट हैं। नांदेड़ में कॉलेज शिक्षा ग्रहण करने वाले गोपछड़े अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद में भी सक्रिय रह चुके हैं।
वह छत्रपति संभाजी नगर के सरकारी मेडिकल कॉलेज के छात्र रहे हैं। बाद में स्वामी रामानंद तीर्थ मेडिकल कॉलेज से उन्होंने एमडी की पढ़ाई पूरी की। वह अपनी पत्नी के साथ नांदेड़ में बच्चों का अस्पताल चलाते हैं।
पहले भी लड़ चुके हैं चुनाव
विधानसभा चुनाव के दौरान उनका नाम नांदेड़ के नायगांव निर्वाचन क्षेत्र के लिए भी सामने आया था। इसके बाद उन्होंने मई 2020 के विधान परिषद चुनाव में भाजपा उम्मीदवार के रूप में अपना नामांकन दाखिल किया था, लेकिन बाद में पार्टी के आदेश के बाद नामांकन वापस ले लिया था।
राज्यसभा चुनाव में उम्मीदवार बनाए जाने पर गोपछड़े ने कहा, “मैं पार्टी का एक आम कार्यकर्ता हूं। पार्टी ने मुझे यह जिम्मेदारी सौंपी है, इसके लिए पार्टी का आभारी हूं। मेरे पिता एक किसान हैं और मैं खुद को साबित करने के लिए प्रतिबद्ध हूं। पार्टी की गरिमा बनाए रखना मेरा कर्तव्य है।”